
प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी और केंद्रीय गृहमंत्री अमित शाह।
मोदी सरकार ने अपनी कैबिनेट बैठक में एक ऐसा फैसला लिया है जिसने विपक्ष के सबसे बड़े हथियार को छीन लिया है। आज मोदी कैबिनेट की बैठक में फैसला हुआ है कि केंद्र सरकार देश भर में जातिगत जनणना कराएगी यानि पूरे देश में किस जाति की कितनी आबादी है ये आंकड़े सरकार जुटाएगी और उसके आधार पर ही उनकी हिस्सेदारी भी तय होगी। जातिगत जनगणना का मुद्दा बीते कुछ सालों से राहुल गांधी का सबसे बड़ा हथियार था। हालांकि इसका कोई राजनीतिक फायदा कांग्रेस को नहीं मिला लेकिन एक नैरेटिव बनाने की कोशिश जरूरी हुई।
94 साल बाद हिंदुस्तान में होगी जातिगत जनगणना
बिहार में जातिगत जनगणना नीतीश कुमार ने कराई भी तो वो एनडीए के पाले में ही है और अब केंद्र सरकार ने ये बड़ा फैसला कर लिया है। 94 साल बाद हिंदुस्तान में जातिगत जनगणना केंद्र की सरकार कराने जा रही है ऐसे में इसकी अब तक मांग करने वाली कांग्रेस हो या फिर उनकी सहयोगी पार्टियां सवालों के घेरे में खुद हैं। खासतौर पर कांग्रेस इसलिए क्योंकि 2011 की जनगणना जो देश की आखिरी जनगणना है उसमें जातियां गिनी जरूर गई थी लेकिन उसके आंकड़े कभी सामने नहीं आ पाए।
आइये जानते हैं मोदी सरकार के इस फैसले पर अब राजनीतिक पार्टियों का क्या कहना है-
देर आए, दुरुस्त आए- कांग्रेस
कांग्रेस ने अगली जनगणना में जातिगत गणना कराए जाने के केंद्र सरकार के फैसले पर बुधवार को कहा कि देर आए, दुरुस्त आए। कांग्रेस ने ‘एक्स’ पर पोस्ट किया, ‘‘सामाजिक न्याय को लेकर यह बात कांग्रेस के हालिया प्रस्ताव में कही गई थी, जो 9 अप्रैल 2025 को अहमदाबाद में पारित हुआ था। देर आए, दुरुस्त आए।’’
कांग्रेस 50% आरक्षण की दीवार हटाएगी- डोटासरा
राजस्थान कांग्रेस के अध्यक्ष गोविंद सिंह डोटासरा ने कहा कि जाति जनगणना का निर्णय राहुल गांधी जी के न्याय संकल्प की देश में गूंज और कांग्रेस की नीति की जीत है। डोटासरा ने कहा, जाति जनगणना न्याय दिलाएगी कांग्रेस 50% आरक्षण की दीवार हटाएगी। लोकसभा में नेता विपक्ष राहुल गांधी जी की दूरदृष्टि और न्याय के संकल्प ने आज देश में दो तिहाई वंचित आबादी की तरक्की के लिए न्याय की नींव रखी है। आखिरकार केंद्र की मोदी सरकार को राहुल जी की जाति जनगणना की बात माननी पड़ी। राहुल जी ने सड़क से संसद तक मुखरता से जाति जनगणना का मुद्दा उठाया है, जिसके सामने भाजपा को झुकना पड़ा।
अब BJP हमारे ही एजेंडे की बात कर रही है- तेजस्वी
राष्ट्रीय जनता दल यानी आरजेडी के नेता और बिहार के पूर्व सीएम तेजस्वी यादव ने कहा कि जाति जनगणना का मोदी सरकार पहले विरोध कर रही थी, लेकिन अब ‘हमारे ही एजेंडे’ पर चल रही है। तेजस्वी ने कहा, “विपक्ष की मांग का सरकार ने विरोध किया था.तब प्रधानमंत्री मोदी ने मना कर दिया था, पार्लियामेंट में भी इनके मंत्री मना कर रहे थे लेकिन सरकार को अब हमारी बात माननी पड़ी है। ये हमारी मांग है और ये हमारी जीत है।”
तेजस्वी यादव
‘जातिगत जनगणना के समर्थन में लेकिन…’
लोक जनशक्ति पार्टी (रामविलास) के अध्यक्ष चिराग पासवान ने जातिगत जनगणना का समर्थन किया है। उन्होंने कहा कि जातिगत जनगणना से सरकार को लोगों के लिए विभिन्न कल्याणकारी योजनाओं को तैयार करने के लिए डेटा मिलेगा, लेकिन ऐसे डेटा को सार्वजनिक नहीं किया जाना चाहिए। इससे जातिवाद को बढ़ावा मिल सकता है। केंद्रीय मंत्री ने कहा कि वो जातिगत जनगणना के समर्थन में हैं लेकिन जाति की राजनीति का समर्थन नहीं करते। जाति देश में एक कठोर वास्तविकता है। सरकार भी भेदभाव और लोगों के उत्थान के लिए कई सरकारी योजनांए शुरू करती है जो जाति पर आधारित है इसलिए प्रदेश की सरकारों के पास जाति के आंकड़े होने चाहिए।
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