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बंगाल में हिंसा फैलाने के लिए बाहर से दंगाइयों को लाया जा रहा, बहकावे में न आएं लोग: ममता बनर्जी

Mamata Banerjee
Image Source : FILE
ममता बनर्जी

पश्चिम बंगाल की मुख्यमंत्री ममता बनर्जी ने एक बार फिर बीजेपी पर जमकर निशाना साधा। उन्होंने आरोप लगाया कि हिंसा फैलाने के लिए बाहर से दंगाइयों को राज्य में लाया जा रहा है। ममता ने लोगों से आग्रह किया कि वे ‘‘भाजपा या धार्मिक कट्टरपंथियों’’ की बातों में आकर आपस में फूट ना पड़ने दें। मुर्शिदाबाद में एक सरकारी कार्यक्रम में बनर्जी ने दोहराया कि बंगाल में वक्फ (संशोधन) अधिनियम लागू नहीं किया जाएगा। मुख्यमंत्री ने कहा कि वह अधिनियम के खिलाफ विरोध प्रदर्शन की आड़ में हिंसा की अनुमति नहीं देंगी। उन्होंने कहा, ‘‘बंगाल में बाहर से दंगाइयों को लाया जा रहा है, उनके बहकावे में न आएं। भाजपा या किसी धार्मिक कट्टरपंथी की बातों में आकर आपस में फूट ना डालें।’’

बंगाल में वक्फ कानून लागू करने का सवाल नहीं उठता

वक्फ (संशोधन) अधिनियम विरोधी प्रदर्शनों के दौरान अप्रैल के दूसरे सप्ताह में मुर्शिदाबाद के धुलियान, शमशेरगंज और जिले के कुछ अन्य स्थानों पर हिंसा भड़क उठी थी, जिसमें तीन लोगों की मौत हो गई थी। मुख्यमंत्री ने लोगों से वक्फ संशोधन अधिनियम के खिलाफ विरोध प्रदर्शनों में हिंसा में शामिल ना होने का भी आग्रह किया। उन्होंने लोगों से सोशल मीडिया मंच पर भाजपा की पोस्टों पर ध्यान न देने की अपील की और उन्हें ‘फर्जी’ करार दिया। बनर्जी ने कहा, ‘‘बंगाल में अधिनियम (लागू) करने का कोई सवाल ही नहीं उठता।’’ 

दंगा पीड़ितों से की मुलाकात

बनर्जी वर्तमान में मुर्शिदाबाद में जिले के दंगा प्रभावित क्षेत्रों के दो दिवसीय दौरे पर हैं जहां उन्होंने पीड़ितों से मुलाकात की। उन्होंने कहा, ‘‘हम धुलियान गए और करीब 400 परिवारों से मिले। सरकार ने पहले ही परिवारों को विभिन्न प्रकार की सहायता राशि सौंप दी है। मैंने 1.20 लाख रुपये के चेक 280 परिवारों को सौंपे हैं। जिन लोगों को अधिक नुकसान हुआ है, उन्हें सावधि ऋण मिलेगा।’’ मुख्यमंत्री ने कहा कि अनुसूचित जाति, अन्य पिछड़ा वर्ग और अल्पसंख्यक वर्ग के लोगों को उनके संबंधित आयोगों से सहायता मिलेगी। 

उकसावे में आकर हिंसा नहीं करने की अपील

उन्होंने कहा, ‘‘अगर आप मुझसे वादा करते हैं कि आप किसी के उकसावे में आकर हिंसा नहीं करेंगे, तो दीदी आपके साथ रहेंगी। अन्यथा, दीदी आपके साथ नहीं रहेंगी।’’ बनर्जी को उनके समर्थक ‘दीदी’ कहते हैं। वर्ष 1992 के बाबरी मस्जिद विध्वंस का जिक्र करते हुए बनर्जी ने कहा कि जब इस अधिनियम के विरोध में पूरे देश में व्यापक हिंसा हुई थी, तब भी मुर्शिदाबाद शांत रहा था। (इनपुट-भाषा)

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Amogh News
Author: Amogh News

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